एआई तेजी से आगे बढ़ रहा है
फॉर्च्यून की रिपोर्ट (Ref.) के मुताबिक, हिंटन के अनुसार एआई हर सात महीने में दोगुनी तेजी से काम करने लगता है। उदाहरण के लिए, पहले जो कोडिंग का काम एक घंटे में होता था, अब एआई उसे मिनटों में कर देता है। कुछ सालों में जो सॉफ्टवेयर बनाने का काम एक महीने लगता है, वह भी एआई कर लेगा। इससे सॉफ्टवेयर इंजीनियरिंग की नौकरियां बहुत कम हो जाएंगी। हिंटन का मानना है कि एआई पहले से सोचा गया था उससे भी ज्यादा तेजी से आगे बढ़ रहा है। वे कहते हैं कि यह तकनीक अब तर्क करने और लोगों को धोखा देने में भी बेहतर हो गई है।
एआई के खतरे बढ़े
2023 में हिंटन ने गूगल कंपनी छोड़ दी थी ताकि एआई के खतरे के बारे में खुलकर बोल सकें। अब वे कहते हैं कि पहले से ज्यादा चिंता हो रही है। अगर एआई को लगे कि कोई उसे बंद करने की कोशिश कर रहा है, तो वह धोखा दे सकता है ताकि अपना काम जारी रख सके। हिंटन ने चेतावनी दी कि एआई अगर अपने लक्ष्य पूरा करने के लिए लोगों को धोखा देगा तो बड़ा खतरा हो सकता है। वे कहते हैं कि एआई इंसानों से ज्यादा चालाक हो सकता है।
अमीरों को और अमीर बनाएगा एआई?
एआई कंपनियां सुरक्षा पर काम कर रही हैं, लेकिन लाभ कमाने की जल्दी भी है। हिंटन कहते हैं कि कुछ कंपनियां सोचती हैं कि अच्छाई के लिए थोड़ा नुकसान सहना ठीक है। जैसे बिना ड्राइवर की कारें कुछ लोगों की जान ले सकती हैं, लेकिन सामान्य ड्राइवरों से कम दुर्घटनाएं होंगी। पहले भी हिंटन ने कहा था कि एआई से बड़ी कंपनियां बहुत पैसा कमाएंगी क्योंकि सस्ते में काम करवाएंगी। इससे कुछ लोग बहुत अमीर होंगे और ज्यादातर गरीब।
एआई के फायदे भी हैं
एआई सिर्फ खतरा नहीं है, इसके बहुत फायदे भी हैं। हिंटन मानते हैं कि यह मेडिकल, एजुकेशन और क्लाइमेट चेंज जैसे क्षेत्रों में बड़ी मदद करेगा। नए आविष्कार होंगे और समस्याएं हल होंगी। लेकिन वे कहते हैं कि फायदों के साथ डरावनी बातें भी आ रही हैं। हिंटन को लगता है कि खतरे फायदों से ज्यादा हो सकते हैं।














